मन्ने भरतार चाहिए से (हरियाणवी)
यह रागनी पद्मावत के किस्से से है यह रागनी झंडू कवि झंडू मीर की है जो कि लख्मीचंद...पूरा देखें
यह रागनी पद्मावत के किस्से से है यह रागनी झंडू कवि झंडू मीर की है जो कि लख्मीचंद के शिष्य थे पद्मावत अपनी सखियों से कहती है कि मैं अब विवाह के लायक हो गई हूं अब मुझे भरतार चाहिए पहले वह कव्वाली रहना ही पसंद करती थी लेकिन रणबीर को देखकर उस पर मोहित हो जाती है और उसे कहते हैं कि मुझे अब भरतार चाहिए